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बांदा जनपद की संक्षिप्त खबरें…..

 

 

नसीमुद्दीन नही लडेंगे चुनाव

बांदा। बसपा सरकार मे कद्दावर नेता रहे पूर्व मंत्री व वर्तमान मे कांग्रेस के नेता नसीमुद्दीन सिद्दीकी लोकसभा का चुनाव नहीं लड़ेंगे। लोकसभा चुनाव में पार्टी को मजबूत करने व घोषित उम्मीदवारों को जिताने का काम करेंगे। बसपा शासन काल में नसीमुद्दीन मिनी मुख्यमंत्री के रूप में जाने जाते थे। बाद में पार्टी से असंतुष्ट होकर वह कांग्रेस में चले गए। कांग्रेस ने उन्हें इस बार बिजनौर लोकसभा सीट से चुनाव का टिकट दिया था, लेकिन उन्होंने यह कहकर टिकट वापस कर दिया कि वह चुनाव में पार्टी को मजबूत करने के लिए सिर्फ उम्मीदवारों को जिताने का काम करेंगे बल्कि चुनाव नही लड़ेंगे। नसीमुद्दीन ने कहा कि उन्होंने अब तक सिर्फ एक या दो चुनाव ही लड़े हैं अब वह चुनाव लड़ने के इच्छुक नही हैं। लेकिन पार्टी के घोषित प्रत्याशियों को जिताने के लिए प्रचार में कोई कोर कसर नहीं छोड़ेंगे। उन्होने कहा कि देश के लिए कांग्रेस के योगदान को जनता भली-भांति जानती है। इसे बताने की जरूरत नहीं है।

गांव मे लगाएगा युवा मोर्चा चौपाल

बांदा। भारतीय जनता पार्टी युवा मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष प्रांशुदत्त द्विवेदी ने युवा मोर्चा के कार्यकर्ता व पदाधिकारियों को गांव-गांव मे युवा चौपाल लगाने की जिम्मेदारी सौंपी है। कनवारा रोड स्थित भाजपा कार्यालय मे युवा मोर्चा के जिलाध्यक्ष मोहित गुप्ता ने बताया कि प्रदेश अध्यक्ष के निर्देश पर जिले मे 300 स्थानों पर चौपाल का आयोजन किया जाएगा। युवा मोर्चा का लक्ष्य है कि गांव-गांव जाकर मोदी और योगी सरकार की योजनाओ को युवाओं के बीच चौपाल के माध्यम से बताने का काम करें। जिलाध्यक्ष ने कहा कि चौपाल के माध्यम से सरकार के कार्य व योजनाओं को युवाओं के बीच साझा किया जाएगा। चौपाल के दौरान युवाओं के सुझाव भी लिए जाएंगे ताकि युवाओं की समस्याओं का तत्काल समाधान कराया जा सके। उन्होने कहा कि 25 फरवरी से युवा चौपाल के जरिए युवाओं का पंजीकरण भी कराया जाएगा तथा चौपाल के माध्यम से भाजपा युवा मोर्चा के पदाधिकारी सांसद, विधायक एवं जिले के जन प्रतिनिधियो से युवाओं का संवाद कराया जाएगा।

स्वास्थ्य विभाग प्रशासन को दे रहा गलत जानकारी

बांदा। मंडलीय समीक्षा बैठक मे आयुक्त बालकृष्ण त्रिपाठी ने बताया कि मंडल मे सिटी स्कैन की बेहतर सुविधा है। जबकि हकीकत कुछ और ही बयां कर रही है। मंडल मुख्यालय बांदा मे एक मात्र सिटी स्कैन मशीन लगभग एक माह से बंद पड़ी है। जिला अस्पताल मे लगी सिटी स्कैन मशीन की बैटरियां खराब हैं। ऐसी स्थिति मे मरीजों को लगभग ढाई हजार रुपये देकर प्राइवेट पैथालौजी मे सिटी स्कैन कराने के लिए मजबूर होना पड़ रहा है। जिला चिकित्सालय की सिटी स्कैन सुविधा ठप होने से रोजाना 30 से 35 मरीज निजी पैथालॉजी मे धन खर्च कर जांच करा रहे हैं। डाक्टरों का कहना है कि मशीन की 32 बैटरियां खराब होने की वजह से जांच प्रक्रिया ठप है। बैटरी खरीदने के लिए शासन ने साढे पांच लाख रुपये का बजट आवंटित किया है लेकिन जैम पोर्टल मे प्रक्रिया लंबित होने के कारण सिटी स्कैन मशीन ठप पड़ी है। डाक्टर मरीज को रोजाना जांच लिख रहे हैं लेकिन जब मरीज पर्चा लेकर सिटी स्कैन कराने पहुंचता है तो उसे मशीन खराब होने का नोटिस लगा मिलता है और वह वापस लौटकर प्राइवेट पैथालॉजी जाने के लिए मजबूर होता है। बताते चलें कि जनपद मे जिला चिकित्सालय मे एक मात्र सिटी स्कैन मशीन लगी है। प्रभारी मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डॉ आर के गुप्ता ने कहा कि टेंडर पास होते ही उसके एक-दो दिन बाद ही सिटी स्कैन मशीन संचालित कर दी जाएगी।

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