
प्रयागराज:- इलाहाबाद हाईकोर्ट की डबल बेंच ने विशेष अपील की सुनवाई करते हुए कहा कि सीआरपीसी की धारा 125 से सिर्फ भरण पोषण की राशि निर्धारित की जा सकती है। सहमति की बाद भी धारा 125 के तहत शादी का भंग नहीं किया जा सकता। अपीलकर्ता महिला ने पारिवारिक पेंशन की मांग को लेकर अपील दायर की थी, जिसे कोर्ट ने खारिज कर दिया। यह फैसला न्यायमूर्ति अश्वनी कुमार मिश्र व न्यायमूर्ति सैयद कमर हसन रिजवी की बेंच ने सुनाया। महाराजा तेज सिंह जूनियर हाई स्कूल, सुल्तानपुर, मैनपुरी में भोजराज सिंह सहायक अध्यापक थे। 30 जून 2012 को सेवानिवृत्त हुए और 02 सितंबर 21 को उनकी मृत्यु हो गई। अपीलकर्ता महिला ने पारिवारिक पेंशन के लिए अपील की। इसके साथ ही दावा किया कि भोजराज की शादी पहले एक महिला से हुई थी, लेकिन सफल नहीं हुई। सीआरपीसी की धारा 125 के तहत भरण पोषण का दावा किया गया था।