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नींद की गोली खिलाई;फिर काटी गर्दन, मां-बाप को भी पता था आज होगा कत्ल; भाई का कबूलनामा –

 

लखनऊ:- बिजनौर जिले के किरतपुर इलाके में बजरंग दल के गोरक्षा जिला प्रमुख सतेन्द्र उर्फ मोंटी बजरंगी हत्याकांड में सौतेली मां, पिता और सौतेले भाई का मंगलवार को पुलिस ने चालान कर दिया।

जिन्हें कोर्ट में पेश किया गया, जहां से तीनों को जेल भेज दिया। पुलिस ने आला कत्ल में खून से सना फरसा बरामद किया है।

मंगलवार को बजरंग दल नेता सतेन्द्र उर्फ मोंटी हत्याकांड का पुलिस ने खुलासा कर दिया। एएसपी सिटी संजीव वाजपेयी ने बताया कि रविवार की रात साढ़े बारह बजे सतेन्द्र की गर्दन रेत कर हत्या कर दी गई थी। सोमवार की सुबह मोंटी का रक्तरंजित शव घर में ही पड़ा मिला।

मृतक के मामा थाना हीमपुर दीपा के गांव ननपुरा निवासी भागेन्द्र ने मोंटी के पिता बलराज, सौतेली मां मधुबाला, सौतेला भाई मानव उर्फ बंटू, सौतेली बहन और उसके पति के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई थी। पूछताछ में सौतेले भाई मानव ने बताया कि मोंटी पिछले तीन दिन से अपने हिस्से की दस बीघा जमीन मांग रहा था।

वह अपनी संपत्ति को गोरक्षा के नाम एक संस्था को दान करना चाहता था। इसी विवाद को लेकर उसे खाने में नींद की गोलियां खिला दीं और रात में लगभग 12 बजे फरसे से उसकी गर्दन काटकर हत्या कर दी। बताया कि जो गड्ढा कमरे में खोद रखा था, उसमें शव को दबाने का मौका उन्हें नहीं मिल पाया।

पुलिस के अनुसार हत्या तो केवल मानव ने की है मगर उसकी सौतेली मां और पिता को यह मालूम था कि आज उसकी हत्या होगी। पुलिस ने आरोपी पिता से पूछताछ की तो वह शुरू में बेटे की मौत से ही अनजान बना रहा।

रविवार को सौतेला भाई नजीबाबाद के एक गांव में गया। जहां से लौटते हुए उसने सतेंद्र की हत्या करने का मन बना लिया था। घर आने पर उसने राजमा चावल में नींद की दस गोली मिला दी। उधर सतेंद्र जब रात में दस बजे तक नहीं लौटा तो वह उसे देखना गया। आखिरकार साढ़े दस बजे सतेंद्र ने घर आकर राजमा चावल खाए। इसके बाद उसे नींद आने लगी। हालांकि वह गांव में एक व्यक्ति के घर भी गया लेकिन लड़खड़ाने लगा। जिस पर घर आकर सो गया। इसके बाद मानव ने फरसे से उसकी हत्या कर दी।

उत्तर प्रदेश के बिजनौर में जिला बजरंग दल गोरक्षा प्रमुख सतेंद्र उर्फ मोंटी बजरंगी (30) की गला काटकर हत्या कर दी गई। शव को दबाने के लिए कमरे में पांच फीट गहरा गड्ढा भी मिला है। मृतक के मामा भागेंद्र ने पिता बलराज, सौतेली मां मधुबाला, सौतेले भाई मानव उर्फ बंटू, सौतेली बहन शालू और बहनोई अनुज को नामजद किया है। पुलिस ने बंटू को गिरफ्तार कर लिया है। किरतपुर थाना क्षेत्र के गांव गोविंदपुर में सतेंद्र उर्फ मोंटी के घर सोमवार की सुबह दूधिया पहुंचा। जहां मोंटी की सौतेली मां मधुबाला अर्द्ध बेहोशी की हालत में मिली।

दूधिया ने घर में झांक कर देखा तो एक कमरे में मोंटी का शव चारपाई पर पड़ा दिखा। रक्त रंजित शव चादर से ढंका था। मृतक के एक पारिवारिक भाई ने गुलदार के हमले से मौत की सूचना लोगों को दी। गांव ननपुरा से आए मोंटी के मामा भागेंद्र समेत अन्य रिश्तेदारों ने धारदार हथियारों का गहरा घाव देखा तो वे बिफर पड़े। काफी देर तक हंगामा हुआ। उन्होंने परिजनों पर ही हत्या का आरोप लगाया।

एसपी सिटी संजीव वाजपेयी ने मौके पर पहुंचकर घटना की जानकारी ली। एसपी अभिषेक झा ने बताया कि सत्येंद्र उर्फ मोंटी की हत्या जमीन के विवाद में की गई है। मृतक के मामा की तहरीर पर रिपोर्ट दर्जकर ली गई है।

मृतक मोंटी बजरंगी के घर के पास नशे की गोली के खाली रेपर पड़े हुए मिले थे। उन्हें पुलिस की टीम ने जब्त किया। इसके साथ ही घर में रखे हुए दूध व अन्य खाद्य पदार्थ का नमूना लेकर जांच के लिए भेजा गया। एसपी सिटी के अनुसार सभी साक्ष्यों को जांच में शामिल किया जाएगा।

बिजनौर के किरतपुर के गांव गोविंदपुर में सतेंद्र उर्फ मोंटी हत्याकांड में पुलिस को घर के जिस कमरे में मोंटी का रक्त रंजित शव पड़ा मिला। वहीं बराबर के कमरे में करीब पांच फुट गहरा गड्ढा खोदा गया था। गड्ढे से निकली मिट्टी को देखकर माना जा रहा है कि यह गड्ढा एक दिन में नहीं बल्कि पिछले काफी दिनों से खोदा जा रहा था। पुलिस के अनुसार, इसी गड्ढे में मोंटी के शव को दबाने की योजना थी।

गड्ढे में उतरने के लिए बाकायदा एक रस्सी छत के कुंड में बांधकर नीचे लटकी मिली। जिससे गड्ढे में रस्सी के सहारे आसानी से उतरा जा सके। गड्ढा खोदने में निकली मिट्टी कमरे में ही चारों तरफ फैली हुई थी। मृतक के सौतेले भाई बंटू ने पुलिस पूछताछ में बताया कि एक तांत्रिक ने उनके घर में सोना चांदी दबे होने की बात कही थी। इसके लिए दो महीने से गड्ढा खोद रहे थे।

मोंटी बजरंगी सामाजिक क्रियाकलापों में सक्रिय हो गया था। उसके पिता बलराज आपराधिक प्रवृत्ति का रहा है। जिसके खिलाफ नौ मुकदमे दर्ज हैं। जिसमें लूट, जानलेवा हमला, हत्या, बलवा और विद्युत अधिनियम आदि के मामले हैं।

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